Latest Hindi Sex Stories added for who looking to read Friend Wife Fuck Kahani – दोस्त की बीवी की चूत की प्यास बुझाई to make every night hot about Friend Wife Fuck Kahani – दोस्त की बीवी की चूत की प्यास बुझाई story.
Story Start Here :
फ्रेंड वाइफ फक कहानी में गाँव से एक लड़का अपने दोस्त के पास काम की तलाश में आया. दोस्त दुबला पतला था. पर दोस्त की बीवी सेक्सी थी. उसने अपने शौहर के दोस्त को अपने जिस्म की गर्मी कैसे दी?
नमस्कार दोस्तो, मैं आपका दोस्त विशू, अपनी सेक्स कहानी के एक मस्त किरदार मुकेश की चुदाई वाली कहानी की अगली कड़ी लाया हूँ.
इससे पहले की सेक्स कहानी
बेटे ने मजदूर माँ को मालिक से चुदती देखा
में आपने पढ़ा था कि मां से मुकेश को सेक्स का बहुत सुख मिला. शारदा भी अब अपने पति से कम और अपने बेटे से ज्यादा चुदने लगी थी.
अब इससे आगे फ्रेंड वाइफ फक कहानी का मजा लें.
मुकेश रोजगार के लिए मुंबई के लिए निकल गया.
मुंबई आकर उसने दोस्त को फोन किया.
उसका दोस्त उसे लेने गया और घर ले आया.
उसके दोस्त का नाम आदिल था, उसके घर में उसकी बीवी थी.
उसकी बीवी का नाम बुशरा था.
उनकी शादी हुए 2 साल ही हुए थे.
मुकेश को आदिल ने कुछ दिन अपने घर रखा.
आदिल की बीवी बुशरा दिखने में सुंदरता की मूरत थी.
उसकी आंखें बड़ी ही कातिल थीं, कोई देखे तो दीवाना हो जाए.
बुशरा खुद भी कामातुर रहने वाली स्त्री थी.
उसकी कामोत्तेजना बहुत ज्यादा थी.
आदिल उसकी वासना को पूरा ही नहीं कर पाता था.
वह एक दुबला पतला इन्सान था.
उसे सेक्स में ज्यादा रुचि नहीं थी.
जब आदिल ने मुकेश से अपने बीवी का परिचय कराया, तो उन दोनों ने एक दूसरे को नमस्ते की.
उस दिन सब सामान्य था.
दूसरे दिन आदिल उठ कर काम पर जाने लगा.
जाते जाते वह मुकेश से बोला- आज मैं तेरे लिए काम का बंदोबस्त करता हूँ.
फिर वह चला गया.
मुकेश नहा धोकर फ्रेश हो गया.
बुशरा ने उसे चाय नाश्ता दिया.
उसने खुद भी एक कप चाय ली और दोनों सामने सामने बैठ कर बातें करते हुए चाय पीने लगे.
मुकेश शांत था.
बुशरा बोली- मुकेश जी, मैं आपको क्या कह कर पुकारूँ? मुकेश कहूँ या मुकेश जी … या कुछ और!
इस पर मुकेश बोला- आप मेरी भाभी हैं, कुछ भी बुलाइए.
बुशरा मुस्कुरा दी.
फिर जब मुकेश ने बुशरा के बनाये नाश्ते की तारीफ की, तो बुशरा को बड़ा अच्छा लगा.
वह बोला- भाभी जी, आपने नाश्ता बहुत लजीज बनाया है. आपके हाथों में जादू है. जी करता है आपके हाथ चूम …
यह कहते कहते वह अचानक से चुप हो गया.
बुशरा बोली- बोलिए ना मुकेश … जी … आप चुप क्यों हो गए? मुझे अच्छा लगेगा अगर कोई मेरी तारीफ करे तो!
तब मुकेश बोला- भाभी, नाश्ता अच्छा बना था.
बुशरा इठला कर बोली- ऐसे नहीं, जैसे पहले बोले … वह पूरा करो न … मुझे अच्छा लगेगा!
तब मुकेश बोला- भाभी नाश्ता इतना अच्छा बना है कि दिल करता है कि आपके हाथ चूम लूँ!
ये सुनते ही बुशरा ने अपना हाथ आगे किया और बोली- लो कर लो अपनी हसरत पूरी.
यह देख कर मुकेश शर्माया और बोला- भाभी, आप मजाक कर रही हैं!
तो बुशरा बोली- नहीं, हमें भी अच्छा लगेगा … अगर कोई हमारी तारीफ करता है तो … हमें इनाम देता है तो … और हमारा हाथ चूमना, हमें हमारी तारीफ ही लगेगी.
यह कह कर बुशरा ने फिर से अपना हाथ आगे कर दिया.
इस बार मुकेश ने बुशरा का हाथ थामा और बड़ी नजाकत से उसे चूमा.
कुछ देर तक मुकेश ने अपने होंठ उसके हाथ पर ही चिपकाये रखे.
फिर हाथ को आहिस्ता से छोड़ कर बुशरा की ओर देखा.
बुशरा शर्मा रही थी.
मुकेश बोला- भाभी, आप अप्सरा जैसी सुंदर हो. काश आप मेरी दुल्हन होतीं!
इस पर बुशरा वासना से बोली- तो क्या करते?
उस पर मुकेश बोला- मैं आपको जम कर …
वह बोलता बोलता पुनः रुक गया.
इस पर भाभी बोली- क्या … बोलो न?
इस पर मुकेश बोला- जाने दो भाभी!
उन दोनों की बात वहीं रुक गयी.
सारे दिन मुकेश और बुशरा एक दूसरे को देखते और आहें भरते रहे.
एक दो बार तो बुशरा ने खुद ही झुक कर अपने चूचों के दर्शन करा दिए.
पर मुकेश ने उसे चोदने की पहल नहीं की.
शाम हुई तो आदिल घर आया.
उसने आते ही खुश खबरी दी कि मुकेश तेरे काम का बंदोबस्त कर दिया है. कल तुझे मेरे साथ चलना है.
मुकेश और बुशरा दोनों खुश हो गए.
फिर रात का खाना खाकर सोने की तैयारी में लग गए.
मुंबई में आदिल का घर छोटा था, तो एक साथ सबका बिस्तर लग गया.
दीवार की तरफ बुशरा लेट गई, फिर आदिल, उसके बाद मुकेश.
तीनों लोग आपस में बातें करते करते सो गए.
रात को बुशरा का मन हुआ, तो उसने आदिल को सहलाया.
उसके लंड को पकड़ कर खड़ा कर दिया.
आदिल ने देखा तो मुकेश सो रहा था.
तब आदिल ने बुशरा की चोली में हाथ डाल कर उसके चूचे सहलाये.
फिर उसकी साड़ी ऊपर करके खुद उसके ऊपर चढ़ गया.
ऊपर आकर उसने बुशरा को अपने नीचे सैट कर लिया और चुदाई आरंभ करने से पहले आदिल ने एक नजर मुकेश के ऊपर डाली.
मुकेश सोने का नाटक कर रहा था.
आदिल ने अपना लंड बुशरा की चूत में डाला और उसको चोदने लगा.
अभी 5 मिनट ही हुए थे कि आदिल का पानी निकल गया और आदिल बुशरा के ऊपर ढेर हो गया.
बुशरा ने उस बाजू में धकेल दिया.
वह अपने शौहर से नाराज थी क्योंकि उसकी चुदाई अधूरी रह गयी थी; उसका का मन नहीं भरा था.
एक तो वह सुबह से मुकेश को ललचा रही थी, तो उसका तापमान बढ़ गया था.
बुशरा उठ कर बाथरूम में जाकर साफ सफाई करके आ गयी.
तब तक आदिल नंगा ही उसकी जगह पर चला गया.
काम पर थकान के कारण और झड़ने से उसे तुरंत नींद लग गयी.
बुशरा ने अब मुकेश को देखा.
मुकेश अभी भी सोने का नाटक कर रहा था.
बुशरा दोनों के बीच में जाकर बैठ गयी.
उसने फिर से मुकेश को देखा और वह मुकेश को सहलाने लगी.
उसका हाथ मुकेश के लंड पर आ गया और वह चड्डी के ऊपर से ही मुकेश के लंड को सहलाने लगी.
मुकेश का लंड तो दोनों की चुदाई देख कर पहले से ही खड़ा था.
मुकेश के लंड का आकार देख कर बुशरा का मन ललचाने लगा.
बुशरा बिस्तर पर लेट गयी और उसने अपना मुँह आदिल की ओर कर दिया.
उसका पिछवाड़ा मुकेश की ओर था.
वह अपनी गांड मुकेश के लंड से चिपका कर सोने का नाटक कर रही थी.
ये देख कर मुकेश से रहा नहीं गया.
उसने अपना एक हाथ बुशरा की कमर पर रख उसे अपने सीने से चिपका लिया.
बुशरा मन ही मन चहक उठी.
मुकेश ने बुशरा के चूचों पर हाथ रखा और वह बुशरा की चोली के ऊपर से ही दूध दबाने लगा.
बुशरा शांत लेटी थी और अपने दूध दबवाने का मजा ले रही थी.
मुकेश ने कुछ देर तक चूचे दबाने के बाद पीछे से बुशरा की चोली के हुक खोल दिए और बुशरा के चूचों को आजाद कर दिया.
फिर मुकेश अपने कठोर हाथों से बुशरा के चूचों को मसलने लगा.
बुशरा कसमसा उठी.
चूंकि मुकेश के हाथ खेती में काम करते करते कठोर हो गए थे, बुशरा को इसी वजह से दर्द हो रहा था, पर उसे मुकेश के हाथों से अपने मम्मों का मर्दन करवाना अच्छा लग रहा था.
बुशरा का हाथ अपने आप मुकेश के हाथों पर आ गया.
मुकेश का चूचों का दबाने का काम चालू था और नीचे उसका लंड बुशरा की गांड में घुसने को आतुर था.
उसके लंड से गांड की घिसाई से बुशरा को मीठा सा सुख मिल रहा था.
मुकेश ने अपना हाथ नीचे ले जाकर बुशरा की साड़ी को खोल दिया, उसके पेटीकोट का नाड़ा खोल दिया और अपने हाथों से उसकी साड़ी पेटीकोट को नीचे करने लगा.
अब तक बुशरा की चोली के खुक खुल चुके थे … मतलब चूचे नंगे थे और अब बुशरा की चूत और गांड भी नंगी हो चुकी थी.
मुकेश ने धीरे से अपने चड्डी को नीचे सरका दिया और अपने नागराज लंड को आजाद कर दिया.
अब उसने बुशरा की कमर पकड़ ली और अपने लंड को उसकी गांड की दरार में घुसाने लगा.
तभी बुशरा ने अपनी टांग थोड़ी खोल दीं, जिससे उसका लंड टांगों की दरार में घुस गया.
अब मुकेश ने उसकी चूत पर हाथ रख कर उसकी चूत की पंखुड़ियों को खोला और उसकी चूत के दाने को अपनी बीच की उंगली से घिसने लगा.
बुशरा उसकी उंगली से होने वाले घर्षण से पिघलने लगी.
उसको ऐसी ही काम क्रीड़ा की इच्छा थी, पर आदिल कभी उसके इस अंग के साथ ऐसे खेला ही नहीं था.
आज मुकेश ने उसकी दबी हुई इच्छा को जगा दिया था और वह उसकी चूत के साथ खेलने लगा था.
बुशरा अब खुल कर सिसकारने लगी.
उसने अपने हाथ पीछे करके मुकेश के बालों में डाल दिए और उसके बालों को खींचने लगी.
मुकेश ने अपनी एक उंगली से दाने को घिसते घिसते ही चूत के अन्दर सरका दी और उंगली को अन्दर बाहर करने लगा.
इस हरकत से बुशरा अपनी कमर हिलाने लगी.
उसने अपना एक हाथ नीचे लाकर मुकेश के हाथ पर रख दिया और उसको दबाने लगी.
दूसरे हाथ से वह मुकेश के बालों को खींचने लगी.
बुशरा की चूत कामरस छोड़ने लगी थी.
उसकी महक पूरे कमरे में महकने लगी थी.
वह जैसे ही कमर हिलाती, मुकेश का लंड उसकी जांघों के बीच आगे पीछे होता.
दोनों हमले के हमले से बुशरा और ज्यादा कामुक हो गयी थी.
अब मुकेश ने बुशरा के एक पैर को उठा लिया, ऐसा करने से बुशरा की चूत खुल गयी.
मुकेश ने चूत खुली महसूस की और अपने लंड को बुशरा की चूत के मुख पर रख दिया.
फिर उसने एक नजर आदिल के ऊपर घुमाई, आदिल घोर निद्रा में था.
उसने बुशरा के चेहरे को अपनी ओर घुमाया, बुशरा ने आंखें बंद की हुई थीं.
मुकेश ने बुशरा के होंठों को अपने होंठों में ले लिया और नीचे से एक धक्का लगाया तो पूरा लंड चूत की दीवारों को चीरता हुआ जड़ तक घुसता चला गया.
बुशरा ‘उम्ह म्ह्ह्म्ह …’ करती रह गयी.
मुकेश ने उसके होंठों को नहीं छोड़ा.
अब मुकेश पीछे से उसकी चूत को धकाधक पेलने लगा.
उसका एक हाथ बुशरा के भरे हुए चूचों पर था, तो दूसरा हाथ चूत पर रखा हुआ था.
वह बुशरा को धकापेल चोदे जा रहा था.
चूत का रस निकलने लगा था तो ठप ठप की आवाज गूंजने लगी थी.
दोनों मस्ती में चुदाई का मजा ले रहे थे.
अभी कुछ पल ही हुए थे कि बुशरा थरथराने लगी.
उसने अपने एक हाथ में चद्दर दबायी और दूसरे से मुकेश के सर के बाल पकड़ लिए.
वह आआआह की गूंज के साथ वह बहने लगी.
अपनी चूत से पूरा पानी बह जाने के बाद वह शांत हो गई.
पर अभी चुदाई चालू थी और मुकेश के जोरदार धक्के चालू थे.
दोनों चुदाई में इतने ज्यादा मग्न थे कि कभी कभार उनका धक्का आदिल को भी लग जाता था और यह बात उन दोनों को मालूम ही नहीं हो रही थी.
पर आदिल भी घोड़े बेच कर सो रहा था, तो कुछ भी खलल नहीं हुआ.
बुशरा का दूसरा राउंड चालू था.
करीब 15 मिनट की चुदाई के बाद वह फिर से झड़ने को हुई.
इस बार उसका हाथ अपनी चूत पर था, तो मुकेश ने अपना हाथ उसके हाथ पर रख दिया था.
बुशरा ने अपने हाथ को और जोर से दबाया और झड़ने लगी.
अब मुकेश ने अपना लंड निकाल लिया.
बुशरा का तूफान शांत हो गया था.
उसको लगा कि मुकेश का भी हो गया है.
पर मुकेश ने बुशरा को सीधा कर दिया और उसके पैरों को ऊपर कर दिया.
इस बार बुशरा मुकेश को … और मुकेश प्यार से बुशरा को देख रहा था.
मुकेश बुशरा की दोनों जांघों के बीच बैठ गया था और उसने अपना लंड उसकी चूत पर रख कर एक ही धक्के में अन्दर उतार दिया.
इस बार बुशरा को दर्द हुआ क्योंकि मुकेश का लंड सीधा उसकी बच्चेदानी को ठोकर मार रहा था.
पर उसने उसे नहीं रोका.
मुकेश पूरी रफ्तार के साथ बुशरा को चोद रहा था.
उनके मिलाप की खुशबू पूरे कमरे में फैल गयी थी.
आखिरकार मुकेश अपनी अंतिम स्थिति में आ गया और उसका फव्वारा बुशरा की चूत में फूट पड़ा.
उसके लंड ने बुशरा की चूत को लबालब भर दिया था.
यह होते होते बुशरा का भी पानी पुनः बह गया.
एक तूफान शांत हो गया था.
मुकेश ने बुशरा के पैरों को छोड़ दिया.
तब बुशरा ने पैर सीधे किए.
मुकेश उसके ऊपर ही सो गया.
बुशरा ने मुकेश का भार बड़े प्यार से सह लिया.
बुशरा ने मुकेश का पसीना अपनी साड़ी से पौंछा. मुकेश का लंड कुछ देर बाद खुद ही चूत से बाहर निकल आया.
आज बुशरा की चूत पहली बार लबालब भरी थी.
बुशरा की चूत से खून भी निकला था, वह भी इस रस में मिला था.
बुशरा का शरीर, मन और कामाग्नि तीनों शांत हो गए थे. उसको जो चाहिए था, वह सब मुकेश के लंड से मिल गया था.
बुशरा ने मुकेश को किस किया और थैंक्यू बोला.
मुकेश ने भी बुशरा को किस किया.
आज मुकेश दोगुना खुश था. एक तो उसकी नौकरी लगी थी और दूसरा उसे बुशरा जैसी औरत चोदने मिली थी.
मुकेश उठा और बाथरूम चला गया, उधर से साफ-सफाई करके वह वापस आ गया.
बुशरा उस वक्त अपनी चूत पर हाथ फेर रही थी.
उसकी चूत से खून निकला था.
यह देख कर बुशरा भी दंग थी कि दो साल बाद भी चूत से खून निकला था.
बुशरा बाथरूम में गई और साफ-सफाई करके आ गई.
फिर वे दोनों एक दूसरे की बांहों में समाने लगे.
मुकेश का लंड फिर से खड़ा हो गया.
यहां बुशरा की चूत भी गीली होने लगी.
मुकेश ने इस बार बुशरा को अपने ऊपर ले लिया.
बुशरा समझ गयी और उसने मुकेश का लंड अपने हाथों से अपनी चूत में डाल लिया और उसके ऊपर बैठने लगी.
आहिस्ता आहिस्ता पूरा लंड अपनी चूत के अन्दर लेने के बाद वह उस लंड पर कूदने लगी.
तब तक मुकेश उसके चूचे निचोड़ते रहा, दबाते रहा.
फिर मुकेश ने उसे घोड़ी बनाया और पीछे से उसे चोदने लगा.
इस बार तो करीब 35 मिनट तक चुदाई चली थी.
उस दरमियान बुशरा 2 बार और झड़ी थी.
फिर मुकेश ने भी अपने लंड की पिचकारी बुशरा की चूत में मारी और पूरी चूत फिर से भर दी.
वापस साफ सफाई का दौर चला और तीसरा राउंड भी चला.
इस तरह से रात भर दोनों चुदाई करते रहे.
सुबह होते ही बुशरा आदिल की ओर इशारा करती हुई बोली- अब बस … मेरा बदन दर्द कर रहा है और ये भी उठेंगे काम पर जाने के लिए … और आज तो आपको भी जाना है ना?
मुकेश ने उसे छोड़ दिया.
बुशरा ने साड़ी पहन ली और जगह छोड़ दी.
जाने से पहले उसने फिर से एक बार मुकेश को किस किया और नहाने चली गयी.
मुकेश फ्रेंड वाइफ फक में हुए थकान के मारे सो गया.
कुछ देर बाद आदिल जाग गया. वह बाहर आया और तैयारी करने में लग गया.
वह बुशरा से बोला- अरे बुशरा, मुकेश को जगाओ, वह सफर की थकान के मारे अब तक सो रहा है!
बुशरा मन में ही हंस पड़ी और बोली- हां ऐसा ही हुआ है शायद. मैं जगाती हूँ उन्हें!
फिर उसने मुकेश को जगाया.
आदिल रोज की तरह दूध लाने जा रहा था.
तब मुकेश नहाने जा रहा था.
आदिल बोला- तू तैयार हो जा, मैं आधा घंटा में दूध लेकर आता हूँ, फिर चाय पीकर साथ में निकलेंगे.
यह कह कर आदिल बाहर चला गया.
बुशरा रोटियां सेंक रही थी. आदिल के जाते ही मुकेश ने दरवाजा अन्दर से बंद कर लिया और वह रसोई में चला गया.
उसने पीछे से बुशरा को अपनी बांहों में भर लिया और उसकी गर्दन पर किस करने लगा.
बुशरा बोली- अरे आपको काम पर जाना नहीं है क्या?
तब मुकेश बोला- पहले मुझे ये बताओ कि मैं तुम्हें क्या कह कर पुकारूँ?
इस पर बुशरा हंस पड़ी और बोली- मुकेश, कल रात से मैं तुम्हारी बन गयी हूँ. अकेले में तुम्हें जो पसंद है, वह नाम मुझे दे दो. आज से मेरी लाईफ में आदिल के बाद तुम आए हो और मेरी अधूरी लाईफ तुमने पूरी कर दी है. कल रात मेरी असल में सुहागरात हुई है, कल मैं सही मायने में औरत बनी.
वह यह सब बोल ही रही थी कि तभी मुकेश ने उसे उठा कर किचन की पट्टी पर बिठा दिया और उसके पैरों को अलग करके खुद बीच में खड़ा हो गया.
उसके बाद उसने अपना टॉवेल निकाल कर अलग किया और अपना लंड सीधे उसकी चूत के मुँह पर लगा दिया,
मुकेश ने बुशरा को अपने पास खींच कर गले से लगा लिया.
ऐसा करने से उसका लंड बुशरा की चूत के अन्दर घुस गया.
मुकेश ने अब बुशरा को अपने बदन पर खींच लिया और खड़े खड़े कमर पर उछाल उछाल कर उसकी चुदाई चालू कर दी.
बुशरा के होंठों को किस करते हुए वह दनादन चोदने लगा.
कोई 15 मिनट बाद उसने बुशरा की चूत में अपना वीर्य भर दिया और बुशरा को नीचे उतार कर वह नहाने चला गया.
उसके नहाकर आने तक बुशरा ने अपनी चूत भी साफ कर ली और उसके बाद आदिल आ चुका था.
फिर मुकेश भी तैयार हो गया और तीनों ने चाय पी और दोनों दोस्त काम पर निकल गए.
दोस्तो, मुकेश के जीवन की आगे की सेक्स कहानी अगले भाग में लिखूँगा.
फ्रेंड वाइफ फक कहानी पर आपके मेल का इंतजार रहेगा.
धन्यवाद.
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