Latest Hindi Sex Stories added for who looking to read Hot Widow Xxx Kahani – विधवा भाभी की चुदाई से अकेलापन दूर किया to make every night hot about Hot Widow Xxx Kahani – विधवा भाभी की चुदाई से अकेलापन दूर किया story.
Story Start Here :
हॉट विडो Xxx कहानी में मेरी भाई की असामयिक मौत के बाद भाभी दुखी थी. मैंने उनसे बातें करके उनका दिल बहलाया. हम आपस में खुलते गए. हम दोनों के बीच पहला सेक्स कैसे हुआ?
दोस्तो, मेरा नाम विक्की है.
मैं एक 22 साल का युवक हूँ और काफी स्मार्ट दिखता हूँ.
यह मेरी सच्ची हॉट विडो Xxx कहानी है.
मेरी भाभी का फिगर 34-30-36 का है.
वे दिखने में कयामत लगती हैं. उनका नाम सोनम है और वे 27 साल की बेहद खूबसूरत महिला हैं.
उन्हें देख कर अच्छे अच्छों का लंड खड़ा हो जाए.
मेरे ताऊ जी के लड़के यानि मेरे बड़े भाई, जो उनके पति थे … उनका बीमारी के चलते देहांत हो गया था.
इस कारण से भाभी जी बहुत दुखी रहने लगी थीं.
फिर जैसे जैसे समय बीता, वह उस सदमे से बाहर आने लगीं.
हम सब उन्हें खुश रखने की पूरी कोशिश करते थे.
मैंने भी उनसे दोस्ती की ताकि वे मुझे अपना फ्रेंड समझ कर अपनी फीलिंग्स मुझसे साझा करें.
मेरे मन में उस समय तक भाभी जी के लिए कोई ग़लत भाव या विचार नहीं थे.
मैंने नोटिस किया था कि भाभी जी बहुत अकेलापन महसूस करती हैं तो मैं उनसे मजाक मस्ती करने लगा था.
भाभी जी भी धीरे धीरे सामान्य होने लगी थीं.
अब हाल यह हो गया था कि मैं उन्हें मजाक में इधर-उधर टच भी कर देता था तो वे बुरा नहीं मानती थीं.
एक दिन मैं उनके कमरे में टीवी देख रहा था और मुझे नींद आने लगी तो मैं वहीं सो गया.
भाभी ने भी मुझे नहीं उठाया और वे भी मेरे साथ ही लेट गईं.
नींद में होने के कारण मेरा लंड खड़ा हो गया था जिसका मुझे पता भी नहीं चला था.
अचानक से मैंने करवट ली तो भाभी जी मेरी बांहों में आ गईं जिसकी वजह से मेरा लंड उनकी गांड में घुस गया.
भाभी की गांड की गर्मी से मुझे अच्छा महसूस होने लगा.
फिर जैसे ही मेरी नींद टूटी और मैंने देखा कि भाभी जी मेरी बांहों में हैं, तो मैं सकपका गया.
मैंने उस टाइम तो कोई रिएक्शन नहीं किया, वैसे ही लेटा रहा.
पर मुझे बड़ा अजीब सा भी महसूस हो रहा था और अच्छा भी लग रहा था.
मैं कुछ ही देर में अपना संयम खो बैठा और मैंने कुछ सोचते हुए आगे की ओर एक धक्का मारा. इससे मेरा लंड सलवार के ऊपर से ही उनकी गांड की दरार में अन्दर को घुस गया.
उसी वक्त भाभी जी के मुँह से आह निकल गई.
मैं डर गया और वैसे ही ढीला होकर पड़ा रहा.
फिर भाभी जी उठीं तो उन्होंने मुझे नींद में समझ कर कुछ नहीं कहा.
शायद उन्हें भी अच्छा लगने लगा था तो वे वैसे ही पड़ी रहीं.
शायद उनके अन्दर की वासना जागने लगी थी.
कुछ टाइम बाद वे वहां से उठ कर चली गईं और मैं भी कुछ देर बाद उनके बिस्तर से उठ कर चला गया.
लेकिन अब मेरा उस सीन को याद कर करके और सोच सोच कर बुरा हाल हो गया था.
मेरा लंड बैठने का नाम ही नहीं ले रहा था.
मैं भाभी को पटा कर चोदने की सोचने लगा.
इस घटना के दो दिन बाद की बात है.
मैं नहाने जा रहा था तो मैंने भाभी से मजाक में कहा दिया- भाभी जी, एक साथ नहाने चलें क्या?
तो भाभी बोलीं- अच्छा बच्चू, ये शौक भी रखते हो … फिलहाल तो तुम अकेले ही जाओ आज मेरे कंधे में दर्द है.
मैंने तपाक से पलट कर कहा- लाओ, मैं आपको मसाज देकर थोड़ा आराम दे देता हूँ.
यह कह कर मैं भाभी के कंधे दबाने लगा और उनके बदन के स्पर्श से मेरा लंड कड़क होने लगा.
कंधे दबाते हुए ही मेरा लंड उनकी कमर से बार बार टच होकर गुर्राने लगा था.
शायद भाभी को महसूस हो गया था तो उन्होंने मुझे मना करते हुए कहा- बस रहने दो अब तुम नहा लो.
मैं भी समझ गया था कि लंड का अहसास भाभी को कुछ कुछ करने लगा था तो वे मना कर रही हैं.
तब मैं नहाने चला गया.
दोपहर के वक्त मैं भाभी के कमरे में गया.
वह उस वक्त लेटी हुई फोन चला रही थीं.
मैं उनसे मजाक करते हुए डबल मीनिंग बातें करने लगा.
लेटी होने की वजह से उनका कुर्ता थोड़ा ऊपर को हो गया था, जिससे उनकी नाभि दिख रही थी.
वे बहुत हॉट लग रही थीं.
मैं तो बस उन्हें चोदना चाह रहा था.
मैंने भाभी से कहा- भाभी आपकी नाभि बहुत हिट लग रही है, आपका पेट और नाभि कितनी क्यूट है!
भाभी- अच्छा … थैंक्स!
यह कहते हुए उन्होंने नॉटी स्माइल पास की.
मैं- भाभी आपका पेट इतना मोटा क्यों होता जा रहा है?
भाभी से मैं इस सब पर खुल कर बात कर लेता था.
भाभी- अरे छोड़ो, ये तो सब कॉपर-टी के कारण हो रहा है!
मैं- भाभी, वह क्या होता है?
भाभी- अरे कॉपर-टी बच्चे होने से रोकती है. तुम्हें पता ही नहीं है क्या?
मैं मजे लेते हुए कहने लगा- ओह … मतलब भैया ने पूरा इंतज़ाम कर रखा था!
इस बीच मैं उनके पेट को सहला भी रहा था.
भाभी- हट बदमाश!
यह कह कर वे हंस दीं- हा हा.
इधर मैं उनके पेट को सहलाता जा रहा था, तो मुझे उनकी सलवार के नाड़े से उनकी झांटों के कुछ बाल दिख गए.
मैं मजे लेते हुआ बोला- भाभी आपके नीचे के बाल दिख गए … शेम शेम!
भाभी ये सब सुन कर हंस दीं और बोलीं- हट बदमाश, क्या क्या देखता रहता है!
मैं अभी भी उनके पेट को सहलाता जा रहा था और वे कुछ भी नहीं बोल रही थीं.
शायद उन्हें अच्छा लगने लगा था.
मैंने हिम्मत की और अपने हाथ को हल्का सा उनकी नाभि से नीचे ले गया.
मैंने देखा कि भाभी अभी भी कुछ नहीं बोल रही थीं. वे बस आंखें बंद की हुई लेटी थीं.
इससे मेरी हिम्मत कुछ और बढ़ गई और मैं अपना हाथ थोड़ा और नीचे ले गया.
ऐसा करते करते मैं उनकी चूत के बाल तक हाथ फेरने लगा.
भाभी बस आंखें बंद की हुई लेटी थीं, तो मैं समझ गया कि भाभी जी चुदासी हो रही हैं.
मैंने देरी न करते हुए उनकी चूत को टच कर दिया और झांटों के साथ साथ चूत को भी सहलाने लगा.
उनकी आह आह निकलने लगी.
अब मुझे कोई डर नहीं रह गया था.
भाभी मादक सिसकारियां लेने लगी थीं.
मैं उन्हें किस करने लगा तो भाभी ने अपने होंठ मेरे होंठों से जोड़ दिए.
हम दोनों में लिप किस शुरू हो गया.
वे अब मेरा पूरा साथ दे रही थीं.
मैंने धीरे से उनकी सलवार का नाड़ा खींच दिया.
तो भाभी ने अपनी टांगों को हिला कर सलवार बाहर निकाल दी.
उनकी सलवार हटने लगी तो मैंने एक कदम आगे बढ़ कर उनके कुर्ते को भी निकाल दिया.
अब वे मेरे सामने ब्रा पैंटी में थीं.
मैंने उनकी ब्रा के हुक को खोल कर उसे भी उनकी चूचियों से अलग कर दी.
इसके जवाब में उन्होंने खुद अपने हाथों से अपनी पैंटी उतार दी.
उनकी प्यारी चूत को झांटों से घिरा देख कर मेरे लंड ने एक झटका मारा.
उनकी चूत गुलाब के फूल की तरह खिली हुई थी.
मुझसे रुका नहीं गया और मैंने अपना मुँह उनकी चूत पर रख दिया और चाटने लगा.
भाभी मादक सिसकारियां लेती हुई अपने जिस्म को कसमसाने लगीं- आह ऑश … यह क्या कर दिया है आह!
उनकी मदभरी आवाजें निकलने लगी थीं और वे मेरा सिर अपनी चूत में दबाने लगी थीं.
कुछ टाइम बाद भाभी अकड़ने लगीं और झड़ गईं.
मैंने देरी न करते हुए अपना सख्त लंड उनकी चूत पर रखा और हल्के से दबा दिया.
कड़क लंड के दबाव से भाभी की चूत चिरती चली गई और मेरा लंड एक इंच तक अन्दर घुसता चला गया.
काफी दिनों के बाद चूत में लंड घुसने की वजह से उन्हें दर्द हुआ और वे हल्के से चीख उठीं.
मैंने उनके मुँह पर हाथ रख दिया और हल्के हल्के शॉट लगाने लगा. अब उनके मुँह से ‘आह आह आउच …’ निकल रहा था.
अगले ही पल मैंने एक तेज शॉट मारा, जिस वजह से मेरा पूरा लंड उनकी चूत में जड़ तक उतर गया.
तेज दर्द के मारे उनकी चीख निकल गई और उनकी आँखों में आंसू आ गए थे.
वे मुझे धक्का देने लगीं पर मैं हटा ही नहीं.
थोड़ी देर तक मैं वैसे ही बिना हिले-डुले उनकी चूत में लंड को पेले पड़ा रहा.
कुछ देर बाद मैंने धक्के लगाना शुरू किया.
तो अब वे भी मेरा साथ दे रही थीं ‘आहह आह चोद दे आहह!’
मैंने अपनी स्पीड बढ़ा दी और कुछ देर बाद मैंने उनको कुतिया बनने को कहा.
वे झट से कुतिया बन गईं.
मैंने पीछे से लंड चूत में पेल दिया और उन्हें धकापेल चोदना चालू कर दिया.
कुछ 15 मिनट बाद भाभी झड़ गईं और अब वे कंपकंपाने लगीं.
मैं अभी नहीं झड़ा था तो उन्हें चोदता रहा.
इस बीच वे दूसरी बार भी झड़ गईं.
अब उन्होंने कहा- जल्दी फारिग हो जाओ.
यह सुनकर मैंने भी तेज तेज से धक्के मारे और उनकी चूत में ही झड़ गया.
हम दोनों ऐसे ही नंगे बेड पर पड़े रहे.
कुछ देर बाद मैं और भाभी जी एक दूसरे को किस कर रहे थे.
फिर ऐसे ही थोड़ी देर लेटे रहे.
मैंने भाभी के एक दूध को दबाते हुए कहा- अपने देवर को नंबर तो दे दो भाभी … मैं पास हुआ हूँ या फेल?
हॉट विडो Xxx भाभी ने मेरे लंड को सहलाते हुए कहा- सौ में से एक सौ दस नंबर पाए हैं मेरे देवर ने. बस जरा देर कर दी.
मैंने कहा- हां जरा फ़ट्टू किस्म का है न आपका देवर!
वे हंसने लगीं और बोलीं- उस दिन जब तुम मेरे पीछे से हमला करने के मूड में थे न … तभी से मेरी वासना भड़की हुई है!
मैंने कहा- हां भाभी, उसी दिन से मेरी भी आग भड़की हुई है.
वे मेरी नाक पकड़ कर बोलीं- फिर बुझाई क्यों नहीं!
मैंने कहा- गांड फट रही थी कि कहीं रायता न फैल जाए!
वे हो हो करके हंसने लगीं.
उसके बाद मैं उन्हें अपने सीने से लगा कर प्यार करने लगा.
वे मुझे अपने दूध पिलाने लगीं- विक्की मेरे दूध चूसो न … इन्हें किसी मर्द की बड़ी जरूरत है.
मैंने उनके एक दूध को अपने होंठों में दबाया और खींच खींच कर चूसने लगा.
मेरी और भाभी की जल्द ही दूसरी चुदाई भी होना शुरू हो गई.
अब हम दोनों कभी भी चुदाई कर लेते हैं. उन्हें भी अकेलापन महसूस नहीं होता है.
दोस्तो, यह मेरी एकदम सच्ची सेक्स कहानी है.
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