Sex Stories In Hindi – ट्यूशन ट्यूशन खेलते हुए कई लड़कियों को चोदा


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Story Start Here :

सेक्स स्टोरीज इन हिंदी का मजा इस एक कहानी में लें. इस कहानी में एक लड़के ने एक दिन पहली बार 6 लड़कियों को चोदा. ज्यादातर लड़कियां पहली बार सेक्स कर रही थी.

दोस्तो, मेरा नाम संदीप है.

ये सेक्स स्टोरीज इन हिंदी तब की हैं जब मैं स्कूल में पढ़ता था.
उस समय मेरी उम्र जरूर 18 वर्ष थी मगर मेरा लंड काफी बड़ा हो गया था.

उस वक्त मैं और मेरा परिवार एक किराए के घर में रहते थे.
हमारा घर एक बंद गली के आखिरी छोर पर था.

हमारी गली में कुल आठ युवा थे, जिनमें दो लड़के और छह लड़कियां थीं.
इसके अलावा एक बड़ी उम्र की दीदी भी थी.
दीदी का नाम काजल था.

एक युवा मैं था और दूसरे लड़के का नाम चिंटू था.
लड़कियों में एक का नाम रोशनी, दूसरी चांदनी, तीसरी मुस्कान, चौथी रजनी, पांचवीं नेहा और छठी का नाम निक्की था.

इन सब में निक्की सबसे ज्यादा शरारती थी.
बाकी हम सातों को अब तक चुदाई का कोई अनुभव नहीं था.

हम सब एक साथ मिलकर आपस में मौज मस्ती करते थे.
काजल दीदी भी हमारे साथ ही रहना पसंद करती थीं.

एक दिन हमारे सभी मम्मी-पापा बाजार गए हुए थे क्योंकि उस दिन बाजार में सेल लगी हुई थी.
उन्हें वापस आने में शाम होने वाली थी.

उन्होंने काजल दीदी से सबका ध्यान रखने के लिए कहा और चले गए.

काजल दीदी ने हम सभी को बुलाया और बोली- चलो आज ट्यूशन-ट्यूशन का खेल खेलते हुए मस्ती करते हैं.
हम सब मान गए.

उस दिन चिंटू अपनी नानी के घर गया हुआ था तो लड़का मैं ही अकेला था.
काजल दीदी मैडम बन गईं और हम सब स्टूडेंट बन गए.

दीदी ने कहा- अगर किसी का जवाब गलत हुआ, तो उसे सजा दी जाएगी. यह तुम लोग बताओ कि क्या साज दी जानी चाहिए?

निक्की तुरंत खड़ी हो गई और चिल्ला कर बोली- जो भी गलत जवाब देगा, उसे बगल वाले कमरे में नंगा खड़ा होना पड़ेगा!

हम सब लोग पहले तो नहीं माने लेकिन निक्की ने सभी को मना लिया.
काजल दीदी ने भी कहा- चलो ठीक है, कोई बात नहीं!

अब काजल दीदी ने हम सबसे बारी बारी से सवाल पूछने शुरू किए.
पहले तो हम सब ने सही-सही जवाब दिए.

फिर काजल दीदी ने मुझसे एक कठिन सवाल पूछा और मैं उसका सही जवाब नहीं दे सका.
काजल दीदी ने तुरंत कहा- संदीप, बगल वाले कमरे में जाओ और नंगा होकर खड़ा हो जाओ!

मैं चुपचाप उस कमरे में गया और नंगा खड़ा हो गया.
इसके बाद काजल दीदी ने निक्की से सवाल पूछा.

निक्की ने जानबूझ कर गलत जवाब दिया.
काजल ने उसे भी नंगी होकर मेरे पास आने के लिए कह दिया.

निक्की मेरे पास आई और आंख मारती हुई बोली- अरे संदीप, ये तुम्हारी टांगों के बीच में नीचे क्या लटक रहा है?

मैंने भी मस्ती में कहा- मैं इससे बाथरूम करता हूँ.
उसने अपनी टांगों के बीच में हाथ फेरते हुए कहा- मेरे तो ऐसा नहीं है.

मैंने उसकी शरारत भरी बात का जवाब दिया- लड़कियों को ऐसा नहीं होता, ये सिर्फ लड़कों के पास होता है.
निक्की ने हंस कर पूछा- क्या इसे सिर्फ बाथरूम करने के लिए इस्तेमाल करते हैं?

मैंने अपने लंड को खुजलाते हुए कहा- मुझे तो बस इतना ही पता है कि इससे बाथरूम करते हैं.
मेरे लौड़े का आकार अब बढ़ने लगा था.

निक्की ने लंड को फूलते देखा तो तपाक से कहा- मुझे पता है कि इससे और क्या-क्या करते हैं. मैं अपने मम्मी-पापा को रोज रात को इसका इस्तेमाल करते देखती हूँ.
मेरे मन में भी जिज्ञासा जाग उठी कि आखिर इसने और क्या-क्या देखा है?

मैंने कहा- तुम अपनी मम्मी को पापा के साथ क्या क्या करती हुई देखती हो?
अब तक मेरे लौड़े में जान आ गई थी और वह खड़ा हो गया था.

निक्की ने मेरे कड़क लौड़े को देखते हुए कहा- तुम कुछ मत करो, बस यहां बिस्तर पर लेट जाओ. मैं सब बताऊंगी कि हम लोग भी इससे क्या क्या कर सकते हैं!
मैं लेट गया.

निक्की मेरे ऊपर आकर लेट गई और मेरे लंड पर हाथ फेरने लगी.
मेरा लंड एकदम से अकड़ कर खड़ा हो गया.

फिर निक्की ने मेरे ऊपर चढ़ कर मेरे लौड़े को पकड़ कर अपनी चूत में रगड़ा और उसे अन्दर डलवा लिया.
जरा सा लंड अन्दर घुसा तो उसके मुँह से ‘आह’ की आवाज निकली.

मुझे भी उसकी गर्म चुत चोदने में मजा आने लगा.
मैं अपने आधे लंड से ही उसकी चुत चोदने लगा.

कुछ ही देर में लंड चुत मस्ती से चुदाई का मजा लेने लगे तो मैंने निक्की को अपने ऊपर से हटा कर बिस्तर पर औंधी लिटा दिया मतलब मैंने उसे पेट के बल लिटा दिया था.

फिर उसके पेट के नीचे एक तकिया रखा और लंड पेल कर मैंने उसे चोदना शुरू कर दिया.

उसे पूरे लंड से चुदने में दर्द होने लगा.

वह कहने लगी- आह संदीप रहने दे यार … मेरी चुत का छेद बहुत छोटा है. मैं सिर्फ इसमें अपनी उंगली डालती थी, पर तुम्हारा लंड बहुत मोटा है.
मैंने कहा- मुझे मजा आ रहा है और मैं अब तेरी चुत से इसे नहीं निकालूँगा.

वह कुछ नहीं बोली.
दरअसल उसे भी चुदवाने में मजा आ रहा था मगर वह मेरा मन टटोल रही थी.

फिर जैसे ही मेरा काम होने वाला था तभी हम दोनों को किसी के आने की आहट सुनाई दी.

हम दोनों तुरंत अलग हो गए.

तभी काजल दीदी अन्दर आ गईं.

दीदी ने मेरे लौड़े को देखते हुए मुझसे कहा- तुम्हारी सजा खत्म हो गई है और निक्की तुम्हारी भी सजा खत्म हो गई है. अब नेहा को मजा मिलेगी, तुम दोनों ट्यूशन में आ जाओ, अब नेहा को यहां पर सजा का मजा लेने दो.

फिर जब हम क्लास में गए तो बड़ी दीदी ने मुझसे फिर से सवाल पूछा.
मैंने जानबूझ कर गलत जवाब दे दिया.

तो दीदी ने कहा- संदीप तुम फिर से अन्दर जाओ और नंगे होकर अपनी सजा भुगतो.

मैं वापस कमरे में आ गया और नंगा होकर नेहा के पास आ गया.

मैंने नेहा से कहा कि दीदी ने हम दोनों को आपस में चुदाई करने को कहा है.
नेहा ने कहा- अरे यार मैं तो जानती ही नहीं हूँ कि चुदाई कैसे होती है?

मैंने कहा- वह सब मेरा काम है, आओ मैं तुमको चोद कर सिखाता हूं.

मैंने उसका हाथ पकड़ा और अपने लंड पर रख दिया.
उसने तुरंत हाथ खींचते हुए अपना हाथ मेरे लंड से हटा दिया.

मैंने कहा- क्या हुआ? चुदाई की शुरुआत ऐसे ही की जाती है.
तो उसने हंस कर कहा- यह तो गंदी बात है!

मैंने कहा- मैं दीदी को बोल दूंगा कि तुम मजा नहीं दे रही हो! फिर वे तुम्हें गली में नंगी खड़ी कर देंगी.
गली में नंगी खड़ी होने की बात सुनकर नेहा झट से मान गई.

मैंने उससे कहा- मेरा लंड पकड़ो और सहलाओ.
वह मेरा लंड सहलाने लगी.

लंड कड़क होते ही मैंने उसे लेटा दिया और उसकी टांगों को अपने कंधों पर रखकर उसकी चुत के बीच में अपना लंड पेला, तो लंड फिसल कर साइड में हो गया.

मैंने नेहा से कहा कि अपनी चुत को अपने हाथों से फैला कर पकड़ कर रखो!

उसने अपनी चुत की फाँकों को दोनों तरफ से पकड़ कर खोल दिया.
तभी मैंने उसकी चुत में अपना लंड डाल दिया.

वह एक बार में रोने लगी और उसकी चुत से खू.न निकलने लगा.
मैं घबरा गया.

फिर मैंने एक कपड़े से उसका खू.न पौंछा और फिर से उसके साथ चुदाई करने लगा.

उसे दर्द हो रहा था, पर उसे डर था कि कहीं दीदी उसे सड़क पर नंगी खड़ी होने के लिए ना कह दें.
इसलिए वह चुप रही और मैं धकापेल चोदता रहा.

कुछ समय बाद उसे भी चुदने में मजा आने लगा और वह भी हम्म हम्म करके गांड उठा उठा कर चुत चुदवाने लगी.

मैंने उसे 15 मिनट तक ताबड़तोड़ चोदा और झड़ने ही वाला था कि तभी अचानक फिर से दीदी की आहट सुनाई दी.
मैं तुरंत नेहा से अलग हो गया.

दीदी अन्दर आईं और बोलीं- नेहा तुम्हारी सजा पूरी हो गई है और अब मुस्कान को सजा भुगतनी है. तू कपड़े पहन कर बाहर चली जा!

नेहा ने पूछा- और दीदी, संदीप की सजा कब खत्म होगी?
तो दीदी ने कहा- इसकी सजा दुगनी कर दी गई है क्योंकि इसने दो बार गलत जवाब दिया था.
तो नेहा ने हामी भरी और क्लास में चली गई.

फिर मुस्कान कमरे में आई.
दीदी उसे कमरे में नंगी होकर रहने की कह कर ट्यूशन पढ़ाने के लिए कमरे से बाहर चली गईं.

फिर मैंने मुस्कान से कहा- तुम इधर मेरे पास आ जाओ, दीदी हमें चुदाई करने के लिए बोल कर गई हैं.

मुस्कान को चुदाई के बारे में पता था.
उसने ना कर दिया.

फिर मैंने कहा- ठीक है तुम दीदी को बोल दो कि तुम मेरे लंड से चुदवाने के लिए राजी नहीं हो!
उसने कहा- मुझे कोई बात नहीं करना है.

यह कह कर वह हंस दी.
मैं समझ गया कि साली ड्रामा कर रही है.

मैं अचानक से उसके ऊपर चढ़ गया और उसे चूमने लगा.
वह भी मेरा साथ देने लगी.

कुछ मिनट तक हम दोनों ने चुम्मा चाटी की, फिर उसके बाद मैं अपना लंड उसकी चुत में डालने लगा.
उसने कहा- नहीं, मुझे दर्द होता है. मैंने एक बार अपनी उंगली इसमें में डाली थी तो मुझे बहुत दर्द हुआ और खू.न भी निकला था.

तो मैंने कहा- कोई बात नहीं, मेरा लंड इतना मोटा और लंबा नहीं है … तुम्हें ज्यादा दर्द नहीं होगा!
उसने कहा- ठीक है.

अब मैंने जैसे ही उसकी चुत में अपना लंड डाला तो वह जोर से चिल्ला उठी.
उसकी आवाज सुनकर दीदी उधर दौड़ी दौड़ी आईं, तब तक मैं उससे अलग हो गया और हम दोनों अलग-अलग खड़े हो गए.

तभी दीदी ने मुस्कान से पूछा- क्या हुआ?
उसने कहा- कुछ नहीं बस चूहा दिख गया था!

दीदी हंस कर बोलीं- इतनी बड़ी हो गई है और चूहा से डरती हो पगली!
वे फिर से वापस चली गईं.

उनके जाते ही हम दोनों ने चुदाई शुरू कर दी और 20 मिनट तक चुदाई की.
मेरा वीर्य उसके अन्दर ही निकल गया.

मुस्कान ने कहा- अब बस करो, तुम्हारा भी पानी निकल गया है हट जाओ. वरना दीदी वापस से आ जाएंगी.
हम दोनों अलग हो गए.

थोड़ी देर बाद दीदी अन्दर आईं और हम दोनों को ट्यूशन में लेकर चली गईं.

अब वे हम सबसे वापस से सवाल जवाब करने लगीं.
जब दीदी ने मुस्कान से दोबारा सवाल पूछा तो उसने गलत जवाब दे दिया.
पर इस बार मुस्कान के बाद दीदी ने मुझसे सवाल नहीं पूछा तो मैं कमरे में नहीं जा पाया.

उसके बाद रजनी से सवाल पूछा, तो रजनी को सही जवाब पता था … फिर भी उसने गलत जवाब दिया.

उसके बाद दीदी ने मुझसे सवाल पूछा, तो मैंने जानबूझ कर गलत जवाब दे दिया.
मैं सजा भुगतने के लिए फिर से उसी कमरे में चला गया.

वहां पर मुस्कान, रजनी को मेरे लौड़े से खुद की चुदाई के बारे में बता रही थी.
अभी हम लोग कुछ करना शुरू करते कि तभी दीदी अन्दर आ गईं.

वे मुस्कान को लेकर बाहर चली गईं.

रजनी ने मुझसे कहा- जो तुमने मुस्कान के साथ किया, मेरे साथ भी करो वरना मैं दीदी को सब कुछ बता दूंगी.
तब तक मेरा भी लंड दोबारा से खड़ा हो गया था तो मैं रजनी की बात मान गया.

मैंने तुरंत उसे लिटाया और उसकी चुत की फाँकों देखा तो उसकी चुत खुली हुई थी.
मैंने कहा- तुम्हारी बुर पहले से कैसे खुली हुई है?

उसने मुस्कुरा कर कहा- मैं इसके अन्दर खीरे डाला करती हूँ!
मैंने कहा- ठीक है, अब खीरे की जगह लंड का स्वाद लो.

यह कर मैंने लौड़े को चुत पर सैट किया और एक जोरदार धक्का मारते हुए उसकी चुत में अपना लंड पेल दिया.
वह बड़ी आराम से लौड़े को लील गई और चिल्लाई ही नहीं.

उसने अपनी गांड उठा कर कहा- मैंने तेरे लौड़े से मोटे और लंबे खीरे लिए हुए हैं, मुझे दर्द नहीं होगा.
मैंने उसके साथ आधा घंटा चुदाई की और उसके मुँह में झड़ गया.

फिर उसने कहा- साले तू मेरे मुँह में क्यों झड़ गया?
मैंने कहा- अगर तुम्हारी चुत में झड़ जाता तो तुम प्रेग्नेंट हो सकती थीं!
उसने कहा कि मैं अभी प्रेग्नेंट नहीं हो सकती क्योंकि मैं कुंवारी लड़की हूँ.

मैंने कहा- चुत से तो तू फटी हुई भोसड़ी वाली लड़की है, बस तुझे शादी का लाइसेंस नहीं मिला है!
वह हंसने लगी.

उसके बाद दीदी ने रजनी को भी वापस बुला लिया.
थोड़ी देर बाद दीदी ने मुझे भी बुला लिया.

कुछ देर बाद रोशनी और चांदनी ने भी गलत जवाब दिया और वे दोनों उसी चुदाई वाले कमरे में चली गईं.

थोड़ी देर बाद मुस्कान ने भी गलत जवाब दे दिया तो वह भी इसी कमरे में आ गई.

फिर मुस्कान ने हम दोनों में जो हुआ था, वह उन दोनों को ही बता दिया.
उसके बाद जब मैंने गलती से जवाब गलत दिया तो दीदी ने मुझे वहां पर वापस भेज दिया.

उन्होंने कहा- तुम बार बार गलत जवाब दे रहे हो इसलिए अब तुम एक घंटा तक उसी कमरे में ही रहोगे.
मैंने कहा- रोशनी और चांदनी को भी इतनी देर तक रुकने की सजा मिलनी चाहिए.
दीदी ने कहा- ठीक है.

फिर जब मैं वहां गया तो दीदी ने मुस्कान को बुला लिया क्योंकि उसके मम्मी पापा आ गए थे.
मुस्कान अपने घर चली गई.

मैं, चांदनी और रोशनी एक कमरे में नंगे खड़े थे.
तो मैंने कहा- मुस्कान ने तुम्हें कुछ बताया तो नहीं?

उन्होंने कहा- उसने हमें सब बता दिया है अब तुम हमारे साथ भी करो वरना हम दीदी को बता देंगे.
मैंने कहा- प्लीज दीदी को मत बताना, मैं पूरी कोशिश करूंगा कि तुम दोनों को सज का मजा दूं.

वे बोलीं- हां अब सही ट्रेक पर आ गए हो. अब हम दोनों को गर्म करो और एक साथ चोदो. एक साथ हम दोनों की चुत को कैसे ठंडी करोगे?
मैंने सर हां में हिलाते हुए कहा- तुम चिंता न करो … मैं तुम दोनों की भी चुदाई कर दूंगा.

रोशनी ने कहा- तुम पहले मेरी चुत में लंड डालो!
मैं मान गया और रोशनी को 10 मिनट तक चोदता रहा.
फिर जब मेरा वीर्य निकल गया तो मैं साइड में लेट गया.

चांदनी कहा- मैं बाकी हूं!
मैंने कहा- दस मिनट रुक जाओ. उसके बाद मैं तुम्हारे साथ भी चुदाई कर दूंगा.
चांदनी ने कहा- ठीक है.

तब तक हम दोनों ने चुम्मा चाटी की.
रोशनी हमें देख रही थी.

फिर चांदनी ने कहा- मैं सीधी लेट कर नहीं लूँगी!
मैंने कहा- ओके फिर मैं तुम्हें घोड़ी बनाकर चोदूंगा.

उसने कहा- घोड़ी … वह कैसे बनाओगे?
तो मैंने उसे घोड़ी बनाया और चोदना चालू कर दिया साथ ही मैं रोशनी के साथ चुम्मा चाटी करने लगा.

यह मेरा पहली बार थ्रीसम था.

मैंने 15 मिनट तक चांदनी की चुदाई की और मेरा काम तमाम हो गया.

चांदनी चुदने के बाद बाथरूम गई हुई थी.

तब तक मैं रोशनी के साथ चुम्मा चाटी कर रहा था.
उसे वक्त मुझे और रोशनी को दीदी की आने की आवाज सुनाई नहीं दे सकी थी.

दीदी ने हम दोनों को चुम्मा चाटी करते हुए देख लिया.

उसी वक्त चांदनी बाहर आई.
उसने दीदी को देखा और तभी वह अपने कपड़े पहन कर अपने घर चली गई.

दीदी ने रोशनी से कहा- यह तुम क्या कर रही हो … तुम्हारी मम्मी को आने दो, मैं उन्हें सब बताती हूं.
रोशनी डर गई.

दीदी ने मुझसे भी कहा- मैं तुम्हारी मम्मी को सब बताऊंगी!
मैं भी डर गया.

दीदी ने रोशनी को अपने घर जाने को कह दिया.
वह चली गई.

मैं दीदी के सामने नंगा खड़ा था.
दीदी मुझसे सिर्फ 4 साल बड़ी थीं लेकिन वे अभी कुंवारी थीं.

फिर दीदी ने मुझसे कहा- तुम्हें चुदाई करने का ज्यादा शौक चढ़ा हुआ है?
मैंने कहा- नहीं दीदी, उन दोनों ने ही मुझसे सेक्स करने को कहा था.

दीदी ने कहा- उन दोनों … मतलब तुमने चांदनी की भी चुदाई की है?
मैंने सर नीचे करते हुए हां बोल दिया.

फिर दीदी ने कहा- और किस किसकी चुदाई की है तुमने?
मैंने डर के कारण कह दिया कि सिर्फ चांदनी और रोशनी की ही की है!

दीदी ने कहा- तुम्हें यह सब किसने सिखाया?
मैंने डरते डरते कह दिया कि निक्की ने.

दीदी ने पूछा- और निक्की ने कब सिखाया?
मैंने कहा- जब आपने मुझे और निक्की को पहली बार कमरे में नंगे होकर भेजा था. उसने तभी सिखाया था.

दीदी ने कहा- इसका मतलब तुमने निक्की की भी चुदाई की है!
मैंने सर झुका कर हां कह दिया.

दीदी ने कहा- तुम 2 मिनट यहीं रुको, मैं अभी आती हूं.
यह कह कर दीदी बाहर दूसरे कमरे में चली गईं और वे अपने सारे कपड़े उतार कर मेरे सामने नंगी होकर आ गईं.

मैंने कहा- दीदी आप ऐसे क्यों कर रही हो?
उन्होंने कहा- आज मैं भी तुम्हारे लंड का स्वाद चखना चाहती हूं.

मैंने कहा- पर दीदी आप तो मेरी दीदी हो!
उन्होंने कहा- तुम मेरी चुदाई करोगे या नहीं?
मैंने ना कह दिया तो दीदी ने कहा- फिर मैं तुम्हारे मम्मी पापा को सब बता दूंगी!

मैंने डर कर दीदी को हां बोल दिया.
दीदी के बूब्स बहुत बड़े थे. मेरे दोनों हाथों में पकड़ने में नहीं आ रहे थे.

दीदी भले मुझे 4 साल बड़ी थीं, पर कद काठी में वे मुझसे दस साल बड़ी लगती हैं.
उन्होंने पहले मेरा लंड चूसना चालू किया और लौड़े को कड़क कर देने के बाद वे खड़ी हो गईं.

उन्होंने कहा- अब तुम मेरी चुत को चाटो.
मैंने कहा- मैं नहीं चाटूंगा.

उन्होंने मुझे घूरा और आंखें तरेर कर मुझे देखा.
मैं डर गया और मैंने उनकी चुत चाटनी चालू कर दी.

उनका शरीर गर्म होने लगा.
मेरा शरीर भी गर्म हो रहा था.

फिर मैंने झट से उनसे कहा- दीदी 2 मिनट रुको!
दीदी ने कहा- क्यों क्या हुआ?

मैंने उन्हें उल्टा किया और कहा- दीदी आप बस ऐसे ही रहो बाकी काम मैं कर लूंगा.
मैंने झट से उनकी गांड के नीचे से उनकी चुत मारना चालू कर दी.

दीदी मस्त होकर चुदवाने लगी थीं.
मैंने दीदी की चुत लगभग 40 मिनट तक चोदी.

फिर दीदी झड़ गईं, जबकि मैं अभी नहीं झड़ा था.
दीदी मुझे रुकने के लिए कहने लगीं.

मैंने उन्हें कहा कि नहीं मैं अभी नहीं रुकूंगा. मेरे लौड़े में आग लगी हुई है.

उन्होंने कहा- अच्छा तुमको जो करना है, मेरे मुँह में कर लो … अब मैं और चुत नहीं मरवाऊंगी.

मैंने उनके मुँह में अपना लंड डाला और आगे पीछे करने लगा.

मैंने अपना माल दीदी के मुँह में ही छोड़ दिया और दीदी ने लंड का रस पी लिया.

अब मैं अपने घर चला गया.

उसके बाद से मुझे जब भी इन सब में से कोई अकेली मिलती तो मैं उसके घर जाकर उसकी चुदाई कर देता.

फिर एक दिन सबको पता लग गया कि मैं ही सबकी चुदाई करता हूं तो सब हंसी खुशी मुझसे किसी के भी साथ चुदवा लेतीं.

एक दिन काजल दीदी का घर खाली था.
हम सब जल्दी दीदी के घर गए और मैंने सबको एक साथ चोदा.

काजल दीदी भी सबके सामने बहुत मस्ती से चुद गईं.

उसी दिन दीदी ने सबके सामने यह बात कही कि उन्हें शुरू दिन से ही मालूम था कि संदीप तुम सबको चोद रहा है. मुझे संदीप के लंड से प्यार है और इसीलिए मैं उसके लौड़े का प्यार तुम सबको दिलाना चाहती थी.

तो दोस्तो, आज की सेक्स कहानी बस यहीं तक की थी.
यह मेरी पहली कहानी है.

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