मम्मी के चुदक्कड किस्से Desi


Best try on Chrome browser.

हाय,

मेरा नाम पूर्वी है. मै अब बडी हो चुकी हू. मुझे काफी टाईम से शक था अपनी मम्मी पे, आज मै आप को बताउंगी मेरे मम्मी के चुदक्कड किस्से. जब मै बड़ी हुई और कॉलेज मे जाने लगी मेरा शक जादा यकीन मे बदल ने लगा तब मैने घर मे सीक्रेट कॅमेरे लगाये थे जीसमे मम्मी के चुदक्कड विडिओ रेकॉर्ड किये. चलो अब सुनो ये कहानी.

अब पहले मम्मी के बारेमें बताती हु, मेरे मम्मी का नाम शीला है वह उम्र में 51 है, उसकी ऊंची 5’3, फिगर 453651 है, हा जी वो अच्छी खासी चूबी है, उसके स्तन 45 के, उसके स्तन 45 इतने बड़े है के वो 38DDD का ब्रा पहनती है, हाजी मैने एक दिन उसकी ब्रा की साइज भी देखी थी, कमर 36 और चूतड 51 के है, तो चलो अब आगे बढ़ ते है।

किस्सा पेहेला

मै और मम्मी मुंबई मे रेहते है. पापा काफी साल पेहेले ही गुजर गये. मम्मी बीच बीच मे गाव जाती थी. एक दिन मम्मी ने कहा “पूर्वी बेटी चलो एक हफ्ते के लिये गाव होके आते है, तुझे भी स्कुल मे छुट्टी है” तो हम लोग गाव गये. गाव मे मेरे दादाजी याने मेरी मम्मी के ससुरजी और मेरे पिताजीके बडे और छोटे भाई रेहते है. दादीमाँ तो गुजर गयी थी. हमरा खाना पिना सब गाव से ही आता था और पैसे भी दादाजी याने मम्मी के सासुरजी भेजते थे. हम रईस थे तो पैसे का कोयी प्रॉब्लेम नही था. एक दिन मै ऐसे ही घुमने गयी, दोपहर का वक्त था सोचा खेत मे घुम के आऊ घर भी कोयी नही था. घुमते घुमते मै खेत मे गई कुछ अजीब सी हलचल सुनायि दि इसलीये मै थोडी और आगे गयी देखा तो एक आदमी आधा नंगा अपनी धोती निकालके अपना लंड हिला रहा था उस्के सामने एक औरत लेटी थी.

मै थोडी आगे गयी देखा तो वो मेरे दादाजी थे गौर से देखा तो लेटी हुयी औरत मेरी मम्मी थी. मुझे शॉक लगा मेरे पैरोसे जमीन निकल गयी. मै छुपके देख रहि थी, सून
रही थी, दादाजी अपना लंड हिलाके बोल रहे थे “अरे शीला मेरी बाहुराणी, कितना तडपाओगी तू यही आजा गाव मे रेहने यहा सब कुछ है” मम्मी बोली “हा ससुर जी यहा सब है लेकीन बेटी की पाढाई वहा है और अगर मै यहा आऊनगी तो आप तो मुझे नंगा ही रखोगे, दिनभर मुझे चोदोगे रातभर चोदोगे मेरी पुरी वाट लग जायेगी, अब जलदी करो जो करना है नही तो बेटी उठ जायेगी, घुमते घुमते यहा तक आयी तो उसें ये राज पता चलेगा” मेरे दादाजी गाव के तंदुरुस्त आदमी है उसका लंड तो सॉलिड था. दादाजी ने मम्मी से कहा “चल बहुरानी अब कुतीया बन जा” मम्मी उलटी हो गयी और दादाजी ने अपना बडा लंबा लंड मम्मी के चुत मे घुसा दिया. काफी टाईम उनका सेक्स चला. दादाजी जोर जोर से ठोके दे रहे थे और वो झेल रही थी. कुछ देर के बाद दादाजी पुरे मम्मी के उपर लेट गये. मै समझ गयी होगया इन्का काम. मम्मी ने कहा “बाबूजी इस उमर मे भी आप का इतना बडा और इतना पानी फेक ता है, हाय दय्या” दादाजी बोले “हा बहू सब तेरेलीये ही जमाके रख ता हू” कुछ देर वो वैसे ही पडे रहे. मम्मी उठी साडी ठीक की दादाजी ने भी कपडे पेहने और वो दोनो अलग अलग निकल गये.

अब मेरे पस एक अच्छा टाईम पास था
मम्मी का पिच्छा करना.

किस्सा दुसरा

उसी रात हमारे गाव मे ऑर्केस्ट्रा था. गाव के सब लोग वहा थे मम्मी भी थी. मेरा ध्यान पुरा मम्मी पे था. कुछ ही देर मे मम्मी वहासे उठ गयी निकल पडी. मैने भी मम्मी का पिच्छा किया देखा तो मम्मी आगे चल रही थी कुछ ही अंतर से पिछेसे एक आदमी भी चल रहा था. दोनो चलते चलते हमारे घर की ओर गये लेकीन घर नही गये बलके घर के पिछे गोठा था जहाँ पे हमारे गाय म्हेस थे वहा गये. अंदर हलकासा उजाला था मै वही लकडोके पिछे से देख रही थी. मम्मी और वो आदमी आमने सामने थे. मम्मीने अपना पल्लू निकाला तुरंत ही ऊस आदमीने हाथ डालके मम्मी का ब्लॉउज फाडा उस्के बबलो को हातोसे दबाना चालू किया. तब मुझे पता चला के मम्मी के पल्लू के नीचे उस्के इतने बडे बोबले. जो मै पेहली बार देख रही थी मै तो मम्मी के बडे बोबले देख के पागल ही होगयी. मम्मी चिलायी “आऊच ये क्या छोटे देवरजी आपने तो मेरा ब्लाउज फाडा” तब मुझे समझा येतो मेरे छोटे चाचू है. चाचुने कहा “अरे शीला भाभी आप हो ही ऐसी, देखते ही आप के कपडे फाड के आपको नंगा करने का मन करता है”. मम्मी ने कहा “छोटे देवरजी हा लेकीन ब्लाउज फाडने की क्या जरूरत थी मै तो दे ही रही थी” छोटे चाचू ने कहा “मजा आता है तेरा ब्लॉउज फाड के तेरे बडे बडे बोबलो को दाबानेमे जो मजा मेरी बीबी मे नही वो तुझमे जादा है” मम्मी ने कहा “छोटे देवरजी बस बस अब जलदी करो थोडे ही देर मे सब घर आजायेंगे” चाचुने तुरंत ही मम्मी को लेटाया और चोद ने लगा. काफी वक्त चला फिर दोनो अलग हो गये मम्मी भी अपने पल्लू फटा हुवा ब्लाउज को कवर करके घर आगयी और चाचू ऑर्केस्ट्रा देखने चले गये.

फिर रात हम घर थे. मै और मम्मी हम एक ही रूम मे सोते थे.

किस्सा तिसरा

दुसरे दिन मेरी निंद खुली. मम्मी ने कहा “तू नाश्ता करले तब तक मै आती हू” वो चली गयी. मैने तुरंत ही रोटी सबजी थोडी हाथ मे ली और मम्मी का पिच्छा करने निकली. मम्मी के हाथ कुछ बरतन थे. मैने देखा तो वो विमला चाची के घर जा रही थी. लेकीन मुझे मालूम था के विमला चाची नही है घर, विमला चाची याने मेरे बडे चाचा की बीबी. मै चुपकेसे पिछे गयी और देख ने लगी. बडे चाचा ने दरवाजा खोला और मम्मी अंदर चली गयी. मै तुरंत ही पिछे गयी खिडकी से कुद के अंदर जाके घर ही छुप गयी. बडे चाचा ने बोला “आवो मेरी छोटी शीला भाभी, ये क्या है?” मम्मी ने कहा “बड़े देवरजी नाश्ता है आपके लिये” बडे चाचा ने कहा “नाश्ता तो होगया हमरा. ओहह अच्छा अब मै समझा बहाना बनाके आना पडा” मम्मी ने कहा “हांजी बड़े देवरजी और नही तो क्या” बडे चाचा ने कहा “आजा मेरी चुदक्कड छोटी भाभी.. बडी चुदक्कड है तू” फिर बड़े चाचू ने मम्मी बेड पे धक्का देके लेटाडिया और चोदने लगे. खूब चोदा थोडी देर मे उनका काम हो गया. मम्मी ने साडी पेहनी वो भी निकल पडी और मै वहा से भाग गयी.

किस्सा चौथा

मम्मी घर आने के बाद सब नॉर्मल था.
दोपहार को खाना हुआ लेकीन मेरा पुरा ध्यान मम्मी पे था. अचानक मुझे निंद लग गयी जब निंद खुली तब घर कोयी नही था. मम्मी भी नही थी मैने सब जगह धुंडा कही नही थी. फिर मैने सोचा चलो दिपू के घर जाते है. दिपू ये मेरा गाव का दोस्त मेरे से 5 साल बडा. मेरा बहुत खयाल राखता है, मुझे खाने पिने भी देता है. हम हमेशा साथ मे घुमते है. मै दिपू के घर की ओर बढी देखा तो बाहर से दरवाजा बंद था अंदर से कुंडी लगी थी. मै पिछे की ओर गयी खिडकी से कुद के अंदर गयी, मुझे कुछ बरतन गिरने की आवाज सुनायि दि, मै दबेपाव अंदर गयी देखा तो जमीन पे एक साडी गिरी थी, देखा तो मुझे समझा ये मेरी मम्मी की साडी है. मै अंदर गयी बाथरूम की ओर, बडे पानी के ड्रम के पिछे छुपी देखा तो मम्मी बाथरूम मे खडी थी, उस्के हाथ दिवार पे थे, उस्के ब्लॉउज पेहना था और उसका साया पेटीकोट उपर किया था. पिछे दिपू नंगा था और वो मम्मी को पिछेसे चोद रहा था. फुल स्पीड से चोद रहा था. चोदते चोदते दिपूने जोर से मम्मी के बोबले पकडे, मम्मी बोली “ओये रूक जा इतनी क्या जलदी है, नही तो मेरा ब्लॉउज फट जायेगा” तुरंत ही मम्मी अपने ब्लॉउज के बटन खोले और अपने बडे काबूतरोको आझाद किया. अब तो दिपू पागलो जैसा मेरे मम्मी के बोबले दबा दबाके उसें फुल स्पीड मे चोद ने लगा. दिपू बोला “पूर्वी की मम्मी आप यही आ जायो ना बडा मजा आयेगा” मम्मी ने कहा “चल हट तुम्हारी मजा और मेरी सजा होगी उसका क्या, चल जलदी कर अभि नही तो तेरी दोस्त याने मेरी बेटी अजयेगी. दिपू बोला” फिर भी पूर्वी की मम्मी आजावो ना, चलो अब ये बतवो फिर कब आवोगे आप?” मम्मी ने कहा “दिपू जलदी कर बेटा, और हम आये तो तुझे पता चलेगा. पूर्वी तो मिलेगी ना तुझे. चल अब कर जलदिसे” दिपू का स्पीड और बढा. अब मुझे भी पता चला दिपू मेरा इतना खयाल क्यो रख ता है. मै जभिभी आती हू तब फिर कब आयोगे और मम्मी भी आयेगी ऐसा पुछता रेह ता है हमेशा.

फिर हम गाव से निकले, मुंबई आगये. मुझे नये कॉलेज मे भी तो जाना था. मुंबई आने से पेहेले दादाजी, बडे चाचा, छोटे चाचा और दिपू ने कयी बार मम्मी को चोदा. हम वहासे निकले आते वक्त दादाजीने मुझे काफी पैसे दिये और कहा ये तेरेलिये तू कुछ भी कर इन्का मम्मी को मत देना. मेरा कॉलेज चालू हुआ लेकीन मेरी खोज जारी थी थोडे ही दिनोमे मैने घर के हर कोने मे विडिओ कॅमेरे लागाये. फिर एक दिन ऐसे ही बैठि सोचा चलो रेकॉर्डिंग देखती हू. अब अगला किस्सा सुनो.

किस्सा पाचवा

रेकॉर्डिंग देख ने लगी और यकीन नही हुआ. आगे सुनो अब. मेरा कॉलेज चालू हुआ घर दोस्तो का आना जाना सुरू हुआ. मेरा एक प्रवीण करके दोस्त था वो आता था. ऊस रोज मै पिकनिक मे गयी थी मै घर नही थी. ऊस वक्त प्रवीण मेरे घर आया मम्मी के साथ कुछ बाते की. मम्मी भी उसें अब जानने लगी थी. वो दोनो बाते करते करते किचन मे गये और प्रवीण रोने लगा. रोते रोते उसने मम्मी को गले लगाया. मम्मी ने भी उसें चेअर पे बिठाया तब मैने ध्यान से सुना वो अपनी गर्लफ्रेंड के ब्रेकऑफ के बारेमे बता रहा था. वो चेअर पे था मम्मी खडी थी. उसने अपना सिर मम्मी के बोबलो पे रखा था औए मम्मी भी उसकी पीठ सेहला के उसका रोना शांत करने की कोशीष कर रही थी. उस वक्त मम्मी का पल्लू गिरा उसका ध्यान था या नही लेकीन प्रवीण की आखे मम्मी के बडे बडे बोबलो पे गयी और उसने मम्मी को जखेडके उस्के होटो पे किस किया. मम्मी तुरंत ही पिछे हटी. वो उठा मम्मी की ओर बढा उस्के बोबलो को दबाया अपने दोनो हातोसे. मम्मी ने कहा “ये क्या कर रहे हो प्रवीण? चलो हटो मै तेरे दोस्त की मम्मी हू, तू भी मेरे बेटेजैसा है” प्रवीण ने कहा “अँटी आप बहुत सुंदर हो आप मुझे अछि लगती हो प्लीज” मम्मी बोली “नही बेटे ऐसे नही करते” प्रवीण बोला “अँटी प्लीज” और मम्मी को पकड के डायनिंग टेबलपे लिया उस्के दोनो पैर उपर किये, साडी उपर की, उसकी निकर खोल दि औए खुद की भी पॅन्ट उतार दि और आधा नंगा होगया. जवान ही था उसने मम्मी को लेटाके उसका ब्लॉउज फाड दिया फुल फाडा ब्लॉउज मम्मी का, और उस्के बडे बडे बोबले दोनो हाथ मे लिये उन्हे जोरोसे दाबाने लगा उपरसे एक अपने मुसे उनके बोबलो की चुचीयो निप्पल को काटने लगा उन्हे चुसने लगा. शुरू मे मम्मी ने ना ना किया लेकीन बाद मे उसें भी मजा आने लगा. उसने भी अपने हातोसे प्रवीण का लंड पकडा औए अपने चुत पे रखा बलके उसें मदत की. प्रवीण मे अब और भी जोश आया अब उनकी जोर से ठुकायी होने लगी जैसे के कोयी कंपिटीसन मुकाबला हो रहा था. वो जोर जोर से अपनी कमर हिला हिला के लंड अंदर मम्मी के चुत ने घुसड रहा था और मम्मी अपनी गांड आगे पिछे हिला हिला के उस्के प्रतिसाद दे रही थी. कुछ ही देर मे दोनों अलग हो गये. फिर उसमे और एक विडिओ था जीसमे एक घंटे के बाद फिरसे मम्मी और प्रवीण मे चुदायी हुयी थी. बलके उस रात प्रवीण मेरे ही घर था क्योके मै तो पिकनिक गयी थी. उस रात काफी चुदायी की मम्मी और प्रवीण ने बेडरूम मे.

कुछ दिनो के बाद प्रवीण युके चलागया
उसकी पुरी फॅमिली वहा शिफ्ट हो गयी.

किस्सा छटवा

फिर मैने अगला विडिओ लगाया. वो होली के दिन थे मै कॉलेज के दोस्तो के साथ बाहर थी. विडिओ चल रहा था. घर कोयी आया मम्मी ने दरवाजा खोला. देखा तो मेरा अमर नाम का दोस्त था अब मुझे याद आया हम सब मे अमर उस वक्त हमारे साथ नही था. उन दोनो मे कुछ बात हुयी, अमर अंदर गया बाथरूम मे, मैने कॅमेरा बाथरूम मे भी लगाया था. अमर बाथगरूमे नंगा नहा रहा था कुछ ही देर मे मम्मी अचानक बाथरूम आगयी. कुछ बाते हुयी अमर ने मम्मी को भी शॉवर के नीचे लिया. सुरू मे ना ना ही हुवा बाद मे मम्मी भी नंगी हो गयी. अमर नीचे बैठा और मम्मी उस्के उपर बैठ गयी, दोनो का मु आमने सामने था, उसका लंड अब मम्मी के चुत मे था. मम्मी भी उपरसे उछलने लगी, उसने नीचेसे अंम्मा की चुतड पकडी थी और वो भी नीचेसे ठोके दे रहा था. जोरशोर से चुदायी चालु होगायी. काफी वक्त दोनो शॉवर के नीचे थे वो एक तरफ नीचेसे मम्मी के चुतड पकड के ठोके देरहा था, मम्मी भी उछल उछल के उस्के लंड पे कुद रही थी और वो एकतरफ मम्मी के बोबले मु मे लेके काट रहा था. उनकी चुदायी काफी वक्त चली. फिर वो अलग हो गये.

कुछ ही महिनो मे अमर भी अमेरिका चला गया अपनी फॅमिली के साथ.

मम्मी की इस चुदाई को देख देख के मैं भी चुदकड बन गयी, मैंने भी कयी लडकोसे ओर तो ओर परिवारमे जब गांव गयी तब दीपू से लेके दोनों चाचू ओर दादाजी से भी चुदाई की, अब के लिए इतना काफी है मेरी बाकी कहानी किसी वक़्त बताऊंगी.

आपकी कोमल मॉम ( . )( . )
Email I’d : [email protected]

This मम्मी के चुदक्कड किस्से

More from Hindi